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पहलगाम अटैक पर कांग्रेस नेताओं के बयानों से मचा बवाल! राहुल-खरगे क्यों दिखे खफा, जानें किसने क्या कह दिया जो पार्टी को देनी पड़ी सफाई?

22 अप्रैल के पहलगाम हमले पर कांग्रेस ने सरकार का साथ दिया, लेकिन कुछ नेताओं के बयान से पार्टी घिरी, राहुल-खरगे नाराज़ बताए जा रहे हैं।
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Controversial statements of Congress leaders on Pahalgam: 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले ने देश को हिलाकर रख दिया है। भारत ने जवाब में सिंधु जल संधि रद्द करते हुए PoK में आतंकी ठिकानों पर हमले किए। इस संवेदनशील माहौल में कांग्रेस ने सरकार के हर कदम का समर्थन किया, लेकिन कुछ नेताओं की बेतुकी बयानबाजी ने पार्टी को मुश्किल में डाल दिया है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और राहुल गांधी इन बयानों से इतने नाराज हुए कि 28 अप्रैल को अपने नेताओं को सख्त हिदायत दे डाली कि पार्टी लाइन से हटकर कुछ मत बोलो! आइए, जानते हैं कौन-कौन से बयान बने विवाद की जड़ और क्यों भड़का कांग्रेस का गुस्सा।

बयान नंबर 1. सिद्दारमैया का ‘युद्ध नहीं’ वाला बयान

सबसे हालिया बयान कर्नाटक के CM सिद्दारमैया का आया है जिसमें वह कहते दिखे कि पाकिस्तान से युद्ध की जरूरत नहीं। केंद्र सरकार सुरक्षा मजबूत करे। हम शांति चाहते हैं, लोगों को सुरक्षा चाहिए।” BJP ने इसे “पाकिस्तान परस्त” और “राष्ट्रविरोधी” ठहराकर हमला बोला।

जिसके बाद सोशल मीडिया पर सिद्दारमैया जमकर ट्रोल हुए और X पर #CongressWithPakistan ट्रेंड करने लगा। बाद में उन्होंने सफाई दी कि बयान तोड़ा-मरोड़ा गया और जरूरत पड़ी तो भारत युद्ध लड़ेगा, लेकिन तब तक नुकसान हो चुका था। इस बयान ने कांग्रेस की एकजुट छवि को चोट पहुंचाई।

बयान नंबर 2.वड्डेटीवार का धर्म पर सवाल

महाराष्ट्र कांग्रेस नेता विजय वड्डेटीवार ने पीड़ितों के उस दावे पर सवाल उठाया कि आतंकियों ने धर्म पूछकर हिंदुओं को निशाना बनाया। उन्होंने कहा कि “क्या आतंकियों के पास धर्म पूछने का वक्त होता है? आतंकी का कोई धर्म-जाति नहीं। सरकार दोषियों पर कार्रवाई करे।” BJP ने इसे “असंवेदनशील” और “हिंदू-विरोधी” करार दिया, खासकर जब पीड़ित परिवारों ने धार्मिक लक्ष्यीकरण की बात कही थी। वड्डेटीवार की कोई सफाई नहीं आई, जिससे कांग्रेस की किरकिरी और बढ़ी।

बयान नंबर 3. RB तिम्मापुर की बेतुकी टिप्पणी

कर्नाटक के मंत्री RB तिम्मापुर ने भी पीड़ितों के दावे को खारिज करते हुए कहा, “कोई आतंकी गोली मारने से पहले धर्म पूछेगा? वह तो बस गोली चलाएगा।” BJP ने इसे “पीड़ितों का अपमान” बताया और कांग्रेस पर “आतंकियों को बचाने” का आरोप लगाया। इस बयान ने पार्टी को और बैकफुट पर ला दिया।

इसके अलावा...वाड्रा समेत अन्य नेताओं के भी बिगड़े बोल 

रॉबर्ट वाड्रा ने कहा था कि “मुसलमानों के साथ बुरा बर्ताव” की वजह से गैर-मुसलमानों को निशाना बनाया गया। वहीं मणिशंकर अय्यर ने हमले को विभाजन और 1971 की जंग से जोड़ा, जबकि सैफुद्दीन सोज ने दावा किया कि पाकिस्तान का “हमले में हाथ नहीं” मान लेना चाहिए। ये बयान BJP ने “पाकिस्तान की भाषा” कहकर जमकर उछाले। इसको लेकर X पर @Bjp4India ने लिखा कि “कांग्रेस का असली चेहरा सामने आ गया।” इन बयानों ने कांग्रेस को “राष्ट्रविरोधी” की छवि में धकेल दिया।

बयानों पर कांग्रेस के जयराम ने दी सफाई

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, खरगे और राहुल इन बयानों से पैदा हुए भ्रम से खफा थे। जयराम रमेश ने X पर लिखा कि कुछ नेताओं के बयान उनकी निजी राय हैं, कांग्रेस का पक्ष नहीं। केवल CWC प्रस्ताव, खरगे, राहुल और AICC पदाधिकारियों के बयान ही पार्टी का रुख हैं।” पार्टी ने बयानबाजों को आंतरिक फटकार लगाई और साफ किया कि पहलगाम पर कोई बयान सिर्फ पार्टी लाइन पर हो। कांग्रेस ने CWC में हमले की निंदा की और सरकार का समर्थन दोहराया।

खरगे ने PM पर क्या कसा तंज?

खरगे ने PM मोदी पर भी निशाना साधा, जो सर्वदलीय बैठक में नहीं आए। उन्होंने कहा कि देश के सम्मान पर हमला हुआ, और PM बिहार में चुनावी भाषण दे रहे थे। यह शर्मनाक है।” यह बयान भी चर्चा में रहा, लेकिन पार्टी की आधिकारिक लाइन से मेल खाता था।

क्यों गहराया विवाद?

कांग्रेस ने शुरू में एकजुट होकर हमले की निंदा की, लेकिन सिद्दारमैया, वड्डेटीवार, तिम्मापुर जैसे नेताओं ने देश के साथ साथ पार्टी का भी अनुशासन तोड़ा। उनके बयानों ने BJP स्पोर्ट्स को मौका दिया, जिसने इसे “पाकिस्तान समर्थन” और “हिंदू-विरोधी” करार दिया। X पर कई यूजर्स ने लिखा कि कांग्रेस का दोहरा चेहरा सामने आ गया।” इन बयानों ने संवेदनशील माहौल में गलत संदेश दिया, जिससे पार्टी की छवि को नुकसान पहुंचा। अब कांग्रेस डैमेज कंट्रोल में जुटी है, लेकिन BJP इसे 2025 बिहार और 2026 यूपी चुनावों में भुनाने की फिराक में है।

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