चुनावी घमासान के बीच STF की बड़ी कार्रवाई: RJD विधायक रीतलाल यादव के 11 ठिकानों पर छापेमारी, पटना में हाई अलर्ट
बिहार की राजनीति में एक बार फिर जबरदस्त हलचल मच गई है। आरजेडी (RJD) विधायक रीतलाल यादव के ठिकानों पर शुक्रवार की सुबह STF ने बड़ी कार्रवाई करते हुए छापेमारी की। यह रेड सिर्फ उनके सरकारी आवास तक सीमित नहीं रही, बल्कि बिहटा और अभियंता नगर समेत कुल 11 जगहों पर एक साथ ताबड़तोड़ दबिश दी गई। छापेमारी के दौरान पूरे इलाके को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया गया।
STF की 'ब्लैक ड्रेस' रेड टीम ने संभाला मोर्चा
सुबह-सुबह जब लोगों की नींद खुली, तब तक STF की टीम काली ड्रेस में पूरी तैयारी के साथ विधायक के आवास और अन्य ठिकानों पर दबिश दे चुकी थी। सुरक्षा को लेकर प्रशासन ने कोई कसर नहीं छोड़ी, इसलिए इलाके के कई थानों की पुलिस भी मौके पर मौजूद रही। सूत्रों के अनुसार इस पूरे ऑपरेशन में 1000 से ज्यादा पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था।
विधायक पर दर्ज पहले से दर्ज है केस
अब तक की जानकारी के अनुसार, रीतलाल यादव और उनके कुछ करीबी सहयोगियों पर पहले से एक केस दर्ज है। उसी मामले में कोर्ट के आदेश के बाद यह छापेमारी की गई है। हालांकि, अभी तक अधिकारियों ने यह स्पष्ट नहीं किया है कि किस केस में यह रेड हुई है। दानापुर एसपी समेत वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मौके पर मौजूद हैं और पूरे घटनाक्रम पर नजर रखे हुए हैं।
दानापुर में तनाव, प्रशासन सतर्क
दानापुर और आसपास के इलाकों में इस छापेमारी के बाद से माहौल थोड़ा तनावपूर्ण हो गया है। चूंकि रीतलाल यादव का नाम पहले भी गंभीर आपराधिक मामलों में आ चुका है, ऐसे में किसी अप्रिय स्थिति से बचने के लिए चप्पे-चप्पे पर फोर्स की तैनाती की गई है। एएसपी भानुप्रताप सिंह ने जानकारी दी कि एक साथ 11 ठिकानों पर कार्रवाई हो रही है और पूरा इलाका सील कर दिया गया है।
विधायक ने सोशल मीडिया पर दी जानकारी
रेड के कुछ ही घंटों बाद रीतलाल यादव ने अपने X अकाउंट पर एक तीखा बयान जारी किया। उन्होंने लिखा, "चुनाव से पहले करीब 1000-1500 की संख्या मे बिहार पुलीस प्रशासन बिना किसी सर्च वारंट के और बिना सूचना के मेरे घर छापेमारी कर मुझे और मेरे परिजनों को अकारण मानसिक रूप से सुबह से लगातार अभी तक जिस तरीके से परेशान किया जा रहा है और पूछने पर कुछ बताया भी नही जा रहा है।"
चुनाव से पहले करीब 1000-1500 की संख्या मे बिहार पुलीस प्रशासन बिना किसी सर्च वारंट के और बिना सूचना के मेरे घर छापेमारी कर मुझे और मेरे परिजनों को अकारण मानसिक रूप से सुबह से लगातार अभी तक जिस तरीके से परेशान किया जा रहा है और पूछने पर कुछ बताया भी नही जा रहा है.
— Ritlal Yadav (@ritlalyadavRJD) April 11, 2025
राजनीतिक बदले की कार्रवाई या कानूनी कार्रवाई?
इस कार्रवाई ने बिहार की राजनीति में एक बार फिर उबाल ला दिया है। जहां एक ओर विपक्ष इसे "राजनीतिक बदले की कार्रवाई" बता रहा है, वहीं प्रशासन का रुख साफ है कि कानून अपना काम कर रहा है। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि आगे की जांच में क्या निकलकर सामने आता है और इस रेड का चुनावी समीकरणों पर क्या असर पड़ता है।
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