नेशनलराजनीतिमनोरंजनखेलहेल्थ & लाइफ स्टाइलधर्म भक्तिटेक्नोलॉजीइंटरनेशनलबिजनेसचुनाव

PM मोदी के 'चीता प्रोजेक्ट' के विदेशी एक्सपर्ट की संदिग्ध मौत! क्या यह हादसा था या कुछ और?

PM मोदी के 'प्रोजेक्ट चीता' को सफल बनाने वाले दक्षिण अफ्रीकी विशेषज्ञ विन्सेंट वैन डेर मर्वे का सऊदी अरब में निधन। उनकी मौत पर संदेह के बादल।
11:07 AM Mar 20, 2025 IST | Rohit Agrawal

PM नरेंद्र मोदी के 'प्रोजेक्ट चीता' को सफल बनाने में अहम भूमिका निभाने वाले विंसेंट का निधन हो गया है। दक्षिण अफ्रीका के मशहूर चीता विशेषज्ञ विन्सेंट वैन डेर मर्वे सऊदी अरब में अपने अपार्टमेंट में मृत पाए गए हैं, जहां उनके सिर पर चोट के निशान भी देखे गए हैं। CCTV फुटेज से पता चला है कि वे गिर गए थे और उनका सिर फर्श पर लगा था, हालांकि कुछ रिपोर्ट्स में आत्महत्या की आशंका भी जताई जा रही है। उनके निधन ने वैश्विक संरक्षण समुदाय को झकझोर कर रख दिया है।

'प्रोजेक्ट चीता' में विन्सेंट का गज़ब रोल

विन्सेंट वैन डेर मर्वे 'द मेटापॉपुलेशन इनिशिएटिव' (TMI) के निदेशक और 'चीता मेटापॉपुलेशन प्रोजेक्ट' के प्रबंधक थे। उन्होंने भारत सरकार को मध्य प्रदेश के कूनो नेशनल पार्क में चीतों को फिर से बसाने के लिए सलाह दी और 2022 में नामीबिया से 8 चीतों और 2023 में दक्षिण अफ्रीका से 12 चीतों को भारत लाने में महत्वपूर्ण योगदान दिया।

यह प्रोजेक्ट PM मोदी के ड्रीम प्रोजेक्ट्स में से एक है, जिसका उद्देश्य भारत में चीतों को फिर से बसाना था। हालांकि, इस दौरान कई चीतों और उनके शावकों की मौत हो गई, फिर भी विन्सेंट का मानना था कि भारत चीता संरक्षण में दुनिया का अग्रणी देश बन सकता है। 2024 में वे इस प्रोजेक्ट की निगरानी के लिए भारत आए थे और उन्होंने इसे लेकर आशावाद बनाए रखा।

सऊदी अरब में चीतों की वापसी का मिशन

विन्सेंट सऊदी अरब में वहां की सरकार के साथ चीतों को फिर से बसाने के प्रोजेक्ट पर काम कर रहे थे। सऊदी अरब में चीते 50 साल पहले विलुप्त हो गए थे, और विन्सेंट इस प्रजाति को वहां पुनर्जनन देने की कोशिश में जुटे थे। हाल ही में, 13 मार्च 2025 को, सऊदी सरकार ने उनके कॉन्ट्रैक्ट को एक साल के लिए बढ़ाया था। उनके सहयोगियों ने कहा कि वे विन्सेंट की याद में इस काम को आगे बढ़ाएंगे। वहीं उनके दोस्त और सहकर्मी डॉ. नेजात जिमी सईद ने कहा, "विन्सेंट चीतों के सबसे अच्छे दोस्त थे, और मेरे भी। उनकी कमी सभी को खलेगी।"

विंसेंट का चीता संरक्षण में वैश्विक योगदान

विन्सेंट ने अफ्रीका और एशिया में चीता संरक्षण के लिए कई परियोजनाओं में काम किया। उनके 'चीता मेटापॉपुलेशन प्रोजेक्ट' की शुरुआत दक्षिण अफ्रीका के 41 रिजर्व में 217 चीतों से हुई थी, जो अब 75 रिजर्व में 537 चीतों तक फैल चुका है। इसमें मलावी, जाम्बिया, जिम्बाब्वे, मोजाम्बिक और भारत जैसे देश शामिल हैं।

नेशनल ज्योग्राफिक एक्सप्लोरर रहे विन्सेंट ने चीतों की आनुवंशिक विविधता को बनाए रखने और उनकी आबादी बढ़ाने में अहम भूमिका निभाई। उनके इस योगदान को वैश्विक स्तर पर सराहा गया।

रहस्यमयी मौत पर उठ रहे सवाल?

विन्सेंट का शव रविवार शाम उनके अपार्टमेंट की बिल्डिंग के हॉलवे में मिला। सीसीटीवी फुटेज से संकेत मिलता है कि वे गिर गए और सिर में चोट लगने से उनकी मौत हुई। हालांकि, कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में आत्महत्या की संभावना भी जताई गई है। आधिकारिक पुष्टि अभी बाकी है।

यह भी पढ़ें:

मोहाली में मोमोज फैक्ट्री से मिला कुत्ते का कटा हुआ सिर, कई किलो सड़ा चिकन जब्त

Grok AI: X यूजर्स के साथ गाली-गलौज करने वाला चैटबॉट, जानिए कैसे करता है ये काम

Tags :
Cheetah ConservationMysterious DeathPM Modi InitiativeProject CheetahSaudi ArabiaVincent Van Der Merweचीता संरक्षणपीएम मोदी पहलप्रोजेक्ट चीतारहस्यमयी मौतविन्सेंट वैन डेर मर्वेसऊदी अरब

ट्रेंडिंग खबरें

Next Article