क्या NATO का खेल खत्म? यूरोप बना रहा है दुनिया का सबसे पावरफुल सैन्य संगठन, जानें पूरा मामला"
यूरोप की सुरक्षा नीति और सैन्य रणनीति में बड़े बदलाव की तैयारी चल रही है। उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (NATO) की भूमिका कमजोर पड़ने के साथ ही यूरोपीय संघ (EU) अब अपने सैन्य तंत्र को एक नई दिशा देने की योजना बना रहा है। ब्रुसेल्स में हो रही लगातार बैठकों में यूरोप को एक सैन्य महाशक्ति के रूप में स्थापित करने की रणनीति पर काम किया जा रहा है।
यूरोप को सैन्य महाशक्ति बनाने का प्लान
ब्रुसेल्स में हो रही EU नेताओं की उच्चस्तरीय बैठक में इस पर गहन चर्चा हो रही है कि कैसे यूरोपीय संघ को एक मजबूत सैन्य संगठन में बदला जाए। इस बैठक में 27 देशों के नेता शामिल हो रहे हैं, जो यूरोप को सैन्य दृष्टि से आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में रक्षा खर्च बढ़ाने और एक साझा सैन्य कमांड तैयार करने पर विचार कर रहे हैं।
यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष एंटोनियो कोस्टा ने इस बैठक को अब तक की सबसे महत्वपूर्ण बैठक करार दिया है। उन्होंने संकेत दिया कि यह केवल चर्चा नहीं बल्कि एक निर्णायक कदम साबित हो सकता है, जिससे यूरोप की सुरक्षा नीति में ऐतिहासिक बदलाव आ सकता है।
NATO से दूरी क्यों बना रहे हैं यूरोपीय देश?
NATO की भूमिका पिछले कुछ सालों में कमजोर होती दिख रही है। खासकर डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन के दौरान अमेरिका ने NATO को कमजोर करने वाले फैसले लिए और कई मौकों पर इस संगठन को बेकार तक कह दिया गया। इसके अलावा, यूक्रेन युद्ध के दौरान NATO की धीमी प्रतिक्रिया से भी यूरोपीय देशों में असंतोष बढ़ा है। यूरोपीय नेताओं का मानना है कि यदि अमेरिका अपनी सैन्य मदद से पीछे हटता है, तो यूरोप को खुद अपनी सुरक्षा रणनीति को मजबूत करने की जरूरत होगी। यही वजह है कि अब EU अपने नए सैन्य संगठन की योजना बना रहा है, जो NATO की जगह ले सकता है और यूरोपीय देशों की रक्षा जरूरतों को प्राथमिकता देगा।
यूक्रेन युद्ध ने बदली यूरोप की सोच
यूक्रेन युद्ध के दौरान NATO की सीमित भूमिका ने यूरोपीय देशों को यह सोचने पर मजबूर कर दिया कि वे कब तक अमेरिका पर निर्भर रह सकते हैं। अमेरिका में ट्रंप के फिर से सत्ता में आने की संभावना और उनके NATO को लेकर नकारात्मक रुख ने भी यूरोप के इस फैसले को बल दिया है। अब यूरोपीय संघ यूक्रेन को दी जाने वाली सैन्य मदद को जारी रखने और अपनी सैन्य क्षमताओं को मजबूत करने के लिए नए नियम बनाने पर काम कर रहा है। इसके तहत रक्षा बजट बढ़ाने और अत्याधुनिक सैन्य उपकरणों के उत्पादन पर भी जोर दिया जा रहा है।
क्या अब खत्म हो जाएगा NATO?
अगर EU अपने नए सैन्य संगठन को वास्तविकता में बदलने में सफल होता है, तो यह NATO के लिए एक बड़ा झटका होगा। विशेषज्ञों का मानना है कि यदि यूरोप के बड़े देश NATO से अलग होकर अपनी स्वतंत्र सेना बनाते हैं, तो NATO धीरे-धीरे कमजोर हो सकता है। यूरोप के इस नए सैन्य संगठन को अमेरिका और NATO से पूरी तरह अलग रखने की योजना बनाई जा रही है। यदि ऐसा होता है, तो यह दुनिया का सबसे शक्तिशाली सैन्य संगठन बन सकता है, क्योंकि इसमें फ्रांस, जर्मनी, इटली, स्पेन और अन्य यूरोपीय देश शामिल होंगे, जो आधुनिक सैन्य तकनीक और उन्नत हथियारों से लैस होंगे।
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