हमास ने ठुकराया इजराइल का नया युद्धविराम प्रस्ताव, बोला हम नहीं छोड़ेंगे अपने हथियार
हमास ने गाजा में युद्धविराम को लेकर इजरायल के नए प्रस्ताव को ठुकरा दिया है। उनका कहना है कि इजरायल ने ऐसी शर्तें रखी हैं जिन्हें मानना मुमकिन नहीं है। हमास का साफ कहना है कि वो किसी ऐसे समझौते को नहीं मानेगा जिसमें गाजा में पूरी तरह से युद्ध खत्म करने और इजरायली सैनिकों की वापसी की गारंटी न हो।
हमास के सीनियर लीडर और मुख्य वार्ताकार खलील अल-हय्या ने इजरायली प्रधानमंत्री नेतन्याहू पर आरोप लगाया कि वो गाजा के मुद्दे को अपने राजनीतिक फायदे के लिए इस्तेमाल कर रहे हैं। ब्रिटिश अख़बार 'गार्जियन' की रिपोर्ट के मुताबिक, खलील अल-हय्या ने एक वीडियो जारी किया जिसमें उन्होंने कहा कि इजरायल जो प्रस्ताव लेकर आया है, वो शांति की दिशा में नहीं, बल्कि हालात को और ज्यादा जटिल बना देता है।
उन्होंने कहा कि इजरायल कुछ ऐसे आंशिक समझौते कराना चाहता है जो उसके अपने एजेंडे के लिए फायदेमंद हों, लेकिन हम ऐसे किसी प्रस्ताव को नहीं मानेंगे। हमारी मांग साफ है – गाजा में जंग खत्म हो और इजरायली सेना वापस जाए।
हमास नहीं करेगा निरस्त्रीकरण
इजरायल ने पहली बार हमास से उसके पूरी तरह से निरस्त्रीकरण की मांग की है, और यह मांग उसने युद्धविराम के प्रस्ताव में रखी है। लेकिन हमास ने इसे पूरी तरह से नकार दिया है। हमास के नेता हय्या ने कहा कि इजरायल अपनी सीमा पार कर रहा है, और उन्हें अपने हथियार रखने से रोका नहीं जा सकता है। उन्होंने कहा कि हमास एक बड़ा समझौता करने को तैयार है, जिसमें सभी बंधकों की रिहाई की बात है। इसके बदले, इजरायली जेलों में बंद फिलिस्तीनी कैदियों को छोड़ा जाए।
हय्या ने ये भी कहा कि एक महत्वपूर्ण शर्त ये है कि इजरायल हमारे लोगों के खिलाफ युद्ध रोके और गाजा से अपनी सेना को पूरी तरह से हटा ले। इस समय मिस्र, कतर और अमेरिका हमास और इजरायल के बीच युद्धविराम और बंधकों की रिहाई को लेकर बातचीत कर रहे हैं, लेकिन अब तक कोई ठोस परिणाम नहीं निकल पाया है।
हमास ने 200 इसरायली को बनाया था बंधक
अक्टूबर 2023 में इजरायल के दक्षिणी हिस्से पर हमले के बाद, हमास ने लगभग 200 लोगों को बंधक बना लिया था। इनमें से 24 बंधक अभी भी जिंदा हैं और गाजा में हमास की गिरफ्त में हैं। अधिकारियों के अनुसार, इस हफ्ते काहिरा में हुई वार्ता में कोई खास प्रगति नहीं हुई है। यह तब हुआ है, जब इजरायल ने 2 मार्च से गाजा में मदद की आपूर्ति जैसे खाना, पानी और ईंधन को रोक दिया है, ताकि हमास पर दबाव डाला जा सके।