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Share Market: क्या होते हैं प्राइमरी व सेकेंडरी मार्केट, जानिए इन दोनों में क्या है अंतर

Share Market: यदि आप शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करना चाहते हैं तो आपको पहले प्राइमरी और सेकेंडरी मार्केट के बीच के अंतर को समझना बहुत ज़रूरी है, शेयर मार्केट के एक्सपर्ट आमतौर पर प्राइमरी और सेकेंडरी मार्केट जैसे शब्दों का...
02:11 PM Dec 30, 2023 IST | surya soni

Share Market: यदि आप शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करना चाहते हैं तो आपको पहले प्राइमरी और सेकेंडरी मार्केट के बीच के अंतर को समझना बहुत ज़रूरी है, शेयर मार्केट के एक्सपर्ट आमतौर पर प्राइमरी और सेकेंडरी मार्केट जैसे शब्दों का इस्तेमाल करते हैं. आपने भी प्राइमरी और सेकेंडरी मार्केट के बारे में अक्सर सुना होगा. लेकिन क्या आप जानते हैं इनका क्या मतलब होता है और इनमें क्या अंतर है?
दरअसल शेयर मार्केट दो तरह के होते हैं– प्राइमरी मार्केट और सेकेंडरी मार्केट. चलिए आपको बताते है कि दोनों मार्केट एक दूसरे से कैसे अलग हैं?

प्राइमरी मार्केट

प्राइमरी मार्केट न्यू सिक्योरिटीज जैसे नए शेयर और बांड प्राइमरी मार्केट में जारी किए जाते हैं. प्राइमरी मार्केट में कंपनियां निवेशकों को शेयर बेचती हैं और पैसा जुटाती हैं. साथ ही इसमें में सीधे कंपनी और निवेशकों के बीच लेनदेन होता है. ऐसे कई अलग–अलग तरीके हैं जिनके माध्यम से एक कंपनी प्राइमरी मार्केट से पूंजी जुटा सकती है. इनमें पब्लिक इश्यू (IPO), प्राइवेट प्लेसमेंट और राइट्स इश्यू शामिल हैं

जब कोई कंपनी स्टॉक एक्सचेंज के जरिए अपनी कुछ हिस्सेदारी बेचकर पहली बार निवेशकों से पैसा जुटाती है तो उसे ऐसा करने के लिए एक IPO लॉन्च करना पड़ता है. इस मार्केट में निवेश करने के लिए आपके पास एक डीमैट अकाउंट होना चाहिए जिसे ब्रोकरेज हाउस या बैंकों के साथ खोला जा सकता है. ऐसा ही एक प्लेटफॉर्म है 5पैसा जहां आप डीमैट अकाउंट खोल सकते हैं. इसके जरिए कंपनी स्टॉक एक्सचेंज में लिस्ट हो जाती है. कंपनी का प्राइमरी मार्केट में एंटर करने का मुख्य मकसद पैसा इकठा करना होता है. प्राइमरी मार्केट में निवेशक केवल शेयर खरीद सकते हैं बेच नहीं सकते. खरीदे गए शेयरों को बेचने के लिए उन्हें सेकेंडरी मार्केट में जाना पड़ता है.

सेकेंडरी मार्केट

सेकेंडरी मार्केट बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) जैसे स्टॉक एक्सचेंज सेकेंडरी मार्केट हैं, जहां आप IPO के दौरान खरीदे गए शेयरों को बेच सकते हैं. सेकेंडरी मार्केट में किसी लिस्टेड कंपनी के शेयर खरीदे और बेचे जाते हैं. जब हम स्टॉक एक्सचेंज में शेयर बेचते और खरीदते हैं तब हम सेकेंडरी मार्केट में ट्रेडिंग कर रहे होते हैं. सेकेंडरी मार्केट में निवेशकों के बीच पैसे और शेयरों को एक्सचेंज किया जाता है. कंपनी सेकेंडरी मार्केट में होने वाले लेनदेन (ट्रांजेक्शन) में शामिल नहीं है.

प्राइमरी मार्केट और सेकेंडरी मार्केट के बीच अंतर

– प्राइमरी मार्केट में किए गए ट्रांजैक्शन के जरिए पैसा सीधे कंपनी के पास जाता है. वहीं सेकेंडरी मार्केट में निवेशकों के बीच लेन–देन होता है.– प्राइमरी मार्केट में न्यू शेयर और बांड जारी किए जाते हैं, जबकि सेकेंडरी मार्केट में पहले से जारी शेयरों और बांडों की बिक्री और खरीद होती है. – प्राइमरी मार्केट में कंपनी और निवेशक के बीच लेनदेन होता है जबकि सेकेंडरी मार्केट में निवेशकों के बीच लेनदेन होता है. कंपनी इसमें शामिल नहीं होती है

 

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